दीवाने हो दीवाने सा व्यवहार करते हो
सताते हो कभी मृदुल-मनुहार करते हो- दीवाने हो दीवाने सा व्यवहार करते हो.. नज़रिया कातिलाना अदाएं हैं निराली- अपनी बातों से दिल पर प्रहार करते हो.. लड़ते-झगड़ते हो पर साथ मेरा देते हो- लगे हरकतों से जैसे मुझे प्यार करते हो.. तेरी शरारत और चाहत मुझको भाती- मन पर जवां इश्क के आसार करते हो…..