PAN card fraud: साइबर अपराधियों ने मासूम उपभोक्ताओं को चूना लगाने का एक नया तरीका ढूंढ लिया है। यह लोग किसी के पैन कार्ड और आधार कार्ड आदि का इस्तेमाल करके उसके नाम से कर्ज ले लेते हैं और फिर नौ दो ग्यारह हो जाते हैं। ऐसा इसलिए संभव हो रहा है, क्योंकि कुछ मोबाइल फोन एप्लीकेशन आसानी से कर्ज देने के क्षेत्र में सक्रिय हैं और वे सिर्फ पैन कार्ड तथा मोबाइल नंबर के आधार पर छोटे-मोटे कर्ज दे देते हैं।
अगर पैन कार्ड किसी दूसरे व्यक्ति के हाथ लग जाए तो वह इसका दुरूपयोग कर सकता है। ऐसे कई मामले सामने आए हैं जिनमें पैन कार्ड धारकों को पता चला है कि किसी अज्ञात व्यक्ति को उनकी सहमति के बिना उनके पैन पर कर्ज दिए गए हैं। इस पैन कार्ड कर्ज धोखाधड़ी के कारण पीड़ितों का CIBIL स्कोर बुरी तरह प्रभावित हो रहा है।
क्या कहते हैं विशेषज्ञ
साइबर अपराधी पैन कार्ड लोन धोखाधड़ी को कैसे अंजाम देते हैं, इस पर तकनीक विशेषज्ञ बालेन्दु शर्मा दाधीच ने कहा, आजकल कुछ ऐसे मोबाइल एप्लीकेशन आते हैं जो आपको सिर्फ पैन कार्ड और मोबाइल फोन नंबर लिख करके छोटा-मोटा कर्ज दे देते हैं। आपका पैन कार्ड और आधार कार्ड आदि किसी गलत व्यक्ति के हाथ लग जाने पर वह व्यक्ति आपके नाम से कर्ज ले सकता है जो कि उसके अपने बैंक खाते में ट्रांसफर होगा, लेकिन कर्ज आपके नाम पर चढ़ेगा। ऐसी जालसाजी से बचने के लिए जरूरी है कि आप अपने पैन कार्ड आधार कार्ड आदि को दूसरे लोगों के साथ साझा करते समय अधिकतम सावधानी बरतें।
फोटोकॉपी देनी पड़े तो क्या करें
यदि कभी किसी को इनकी फोटोकॉपी देनी पड़े तो फोटो कॉपी पर लिखना है कि किस मकसद से दी जा रही है। यदा-कदा यह भी जांच लें कि किसी ने आपके नाम से कहीं पर कोई लोन तो नहीं ले लिया है। ऐसा करने के लिए आप सिविल की वेबसाइट का प्रयोग कर सकते हैं जहां पर आपके नाम पर लिए गए तमाम कर्ज, क्रेडिट कार्ड आदि का ब्यौरा मिल जाता है।
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